उत्तराखंड में उपनल के कर्मचारी अब साठ साल की उम्र तक नौकरी कर सकेंगे
इनमें से तीन हजार से ज्यादा लोग 10 साल की सेवा पूरी कर चुके हैं। उपनल के नियमानुसार 10 साल तक ही काम देने की शर्त थी। इससे उक्त तीन हजार लोगों पर हर वक्त तलवार लटकी रहती थी। अब उपनल प्रबंधन के ताजा रुख उन्हें राहत मिल गई है। आरटीआई के तहत उपनल प्रबंधन से कार्मिकों की सेवा की शर्त की बाबत जानकारी मांगी गई थी।
उपनल के कर्मचारी अब साठ साल की उम्र तक नौकरी कर सकेंगे हालांकि, इसके लिए उन्हें नियोक्ता विभाग के मानक पूरे करने होंगे। उपनल प्रबंधन ने सूचना का अधिकार (आरटीआई) के तहत यह जानकारी दी है। उपनल के माध्यम से 20 हजार से ज्यादा कर्मचारी सरकारी और प्राइवेट संस्थानों में काम कर रहे हैं।
दरअसल, वर्ष 2008 और फिर वर्ष 2016 में जारी दो अलग-अलग शासनादेशों में कार्मिकों की सेवा अवधि भी तय की गई है। इन दोनों जीओ के अनुसार, आउटसोर्स के आधार पर एक व्यक्ति उपनल के जरिए सिर्फ दस वर्ष तक ही नौकरी कर सकता है।
अब आरटीआई के जवाब में उपनल के लोक सूचना अधिकारी/डीजीएम मेजर (सेनि.) हिमांशु रौतेला ने बताया कि उपनल के माध्यम से कर्मचारी 60 साल तक सेवा कर सकता है। अब दस साल की कोई शर्त नहीं है। उपनल के एमडी ब्रिगेडियर (सेनि) पीपीएस पाहवा ने भी इसकी पुष्टि की है।
फरवरी में होमगार्ड ने हटाए थे कर्मचारी : 10 साल की सेवा शर्त के आधार पर इस साल होमगार्ड से कई कर्मचारी हआ दिए गए थे। आपके अपने अखबार ‘हिन्दुस्तान’ ने इस मुद्दे को प्रमुखता से उठाया था। तब सरकार के निर्देश पर इन कार्मिकों को बहाल कर लिया गया था।
लेकिन सेवा अवधि की शर्त का लेकर तस्वीर साफ नहीं हुई थी। वर्तमान में हर विभाग उपनल कर्मचारी के साथ 11 महीने का कांट्रेक्ट करता है। अब आवश्यकता के अनुसार यह आगे 60 साल की आयु तक चलता रह सकता है।
-संबंधित विभाग में पद रिक्त हो और उसकी नियमित जरूरत होनी चाहिए।
-स्वास्थ्य के लिहाज से कर्मचारी फिट हों।
-कर्मचारी का आचरण अनुशासनित और ड्यूटी के प्रति कर्तव्यनिष्ठा हो।
-संबंधित पद पर स्थायी कर्मचारी की नियुक्ति तक आउटसोर्स कर्मचारी सेवा बनी रहेगी।
-स्थायी भर्ती के कर्मचारी की नियुक्ति पर आउटसोर्स से रखे गए कर्मचारी को हटना होगा।