हैदराबाद। बांग्लादेश के हरफनमौला खिलाड़ी शाकिब अल हसन ने आईपीएल मैच में चेन्नई सुपरकिंग्स के कप्तान महेन्द्र सिंह धोनी के अंपायर से भिड़ने की घटना पर कहा कि वह इसे समझ सकते हैं क्योंकि 13 महीने पहले श्रीलंका के खिलाफ निधास ट्राफी में उनके साथ भी ऐसा ही हुआ था।
ऐसा संभवत: पहली बार हुआ जब ‘कैप्टन कूल’ ने अपना आपा खोया और अंपायर उल्हास गंधे के फैसले को चुनौती देने डगआउट से निकलकर मैदान पर आ गए। मैच के दौरान मैदानी अंपायर से बहस करने के बावजूद प्रतिबंध से बच गए लेकिन उन्हें मैच फीस का 50 प्रतिशत जुर्माना देना पड़ा। शाकिब ने रविवार को दिल्ली कैपिटल्स के खिलाफ खेले जाने वाले मैच की पूर्व संध्या पर कहा, ‘‘ मैंने निधास ट्राफी में ऐसा ही किया था। मैं इस पर प्रतिक्रिया नहीं दे सकता।’’
निधास ट्राफी में श्रीलंका के खिलाफ मैच के दौरान नोबाल नहीं देने का विरोध करते हुए शाकिब ने खिलाड़ियों को मैदान से बाहर आने के लिए कह दिया था लेकिन बाद में उन्होंने अपना मन बदल लिया। शाकिब ने इस घटना की तुलना धोनी की बहस से करते हुए कहा, ‘‘ यह अचानक हुआ और यह दिखाता है कि आप क्रिकेट को लेकर कितने जुनूनी है। आप अपनी टीम के लिए किसी भी तरह से जीत हासिल करना चाहते है।’’