नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने शिक्षा एवं सरकारी नौकरियों में मराठा समुदाय को आरक्षण संबंधी प्रावधान को बरकरार रखने के बंबई उच्च न्यायालय के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर शुक्रवार को महाराष्ट्र सरकार से जवाब मांगा।प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली एक पीठ ने मराठा आरक्षण कानून की संवैधानिक वैधता को बरकरार रखने के बंबई उच्च न्यायालय के आदेश पर रोक नहीं लगाई।
लेकिन यह स्पष्ट कर दिया कि मराठा समुदाय को 2014 से पूर्व प्रभावी तौर पर आरक्षण देने वाले बंबई उच्च न्यायालय के आदेश के पहलू को लागू नहीं किया जाएगा। पीठ दो याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी, जिनमें से एक जे. लक्ष्मण राव पाटिल की थी, जिसमें उन्होंने मराठा समुदाय को आरक्षण देने संबंधी कानून को बरकरार रखने के बंबई उच्च न्यायालय के फैसले को चुनौती दी थी।