सरकार ने यह स्पष्ट किया है कि सभी को अपने वाहनों को पूरी तरह सैनिटाइज करना होगा और इसमें सुरक्षित शारीरिक दूरी के नियम का भी अनुपालन करना होगा। इसके अलावा सरकार ने दिल्ली और मुंबई में फंसे उत्तराखंड वासियों के लिए उत्तराखंड सदन और मुंबई सदन के दरवाजे भी खोल दिए हैं। वहा उन्हें खाना-पानी के साथ ही स्वास्थ्य सेवाएं भी मुहैया कराई जाएंगी। वहीं, रविवार को भी सुबह सात से एक बजे तक आवश्यक वस्तुओं की दुकानों को खोलने की व्यवस्था रहेगी।
प्रदेश में लॉकडाउन के मद्देनजर अपने मूल जिले और घरों से दूर फंसे हुए यात्रियों को सरकार ने बड़ी राहत दी है। ये यात्री अब अपने घरों को जा सकेंगे। इसके लिए सरकार ने मंगलवार 31 मार्च को एक दिन के लिए प्रदेश के व्यावसायिक और निजी वाहनों को सुबह सात से रात आठ बजे तक संचालन को मंजूरी प्रदान कर दी है।यह छूट केवल एक ही दिन के लिए मान्य होगी।
प्रदेश में इस समय बड़ी संख्या में इलाज या अन्य कार्यों से दूसरे जनपद तक गए लोग लॉकडाउन के बाद वहीं फंसे हुए हैं। हालात यह हो रहे हैं कि किसी के पास पैसे खत्म हो रहे हैं तो कोई किसी अन्य समस्या का सामना कर रहा है। अंतरजनपदीय सीमाएं बंद होने के कारण वे दूसरी जगह भी नहीं जा पा रहे हैं। इस तरह के मामले लगातार सामने आने के बाद सरकार ने इन सभी को राहत देने का निर्णय लिया है। शनिवार को मीडिया से बातचीत में मुख्यमंत्री ने इस बात का ऐलान किया।
उन्होंने कहा कि लोगों की समस्याओं को देखते हुए एक दिन की विंडो देने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने कहा कि मंगलवार को सुबह परिवहन निगम समेत तमाम निजी व्यवसायिक वाहन कंपनिया और ट्रेवल एजेंसियों के वाहनों के साथ ही यात्री निजी दुपहिया या चौपहिया वाहनों से अपने गंतव्य को जा सकते हैं। हालाकि इसके लिए उन्हें अपने वाहनों को पूर्ण रूप से जीवाणु से सुरक्षित बनाना होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली व मुंबई में फंसे प्रदेशवासियों के लिए भी दोनों जगह बने उत्तराखंड सदन खोल दिया गया है।