उत्तराखंड में अब सभी विभागों का होगा हाई रिस्क ऑडिट
सरकार ने इस वर्ष से ऑडिट का तौर तरीका बदला है। पहले मैनुअल ऑडिट होते थे पर इस वर्ष से ऑनलाइन ऑडिट कराने का निर्णय लिया गया है। ऑडिट की प्रक्रिया में बदलाव करते हुए ज्यादा गड़बड़ी वाले विभागों की खामियों पर विशेष फोकस करने को कहा गया है जिसे हाई रिस्क ऑडिट नाम दिया गया है।
उत्तराखंड में अब सभी विभागों का हाई रिस्क ऑडिट होगा। इससे निर्माण कार्यों में होने वाली गड़बड़ी को पकड़ा जा सकेगा और अनियमितता पर लगाम लगेगी। वित्त सचिव अमित नेगी की ओर से सभी विभागों का हाई रिस्क ऑडिट करने के निर्देश दिए गए हैं।
पूर्व में आठ विभागों में हाई रिस्क ऑडिट का निर्णय लिया गया था लेकिन अब हर विभाग में ही निर्माण कार्यों का हाई रिस्क ऑडिट करने को कहा गया है। वित्त सचिव ने बताया कि राज्य में ऑडिट की प्रक्रिया को ऑनलाइन करने के साथ ही त्वरित किया जा रहा है।
जिन कार्यों में गड़बड़ी की ज्यादा आशंका है, उन पर विशेष फोकस करते हुए ऑडिट किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सभी विभागों का हाई रिस्क ऑडिट होगा ताकि वित्तीय और अन्य गड़बड़ियों को दूर किया जा सके।
राडार पर आपदा, लोनिवि और कुंभ के काम
ऑडिट विभाग के सूत्रों ने बताया कि हाई रिस्क ऑडिट के तहत उन सभी कामों का आकलन किया लिया जाएगा जहां धन आवंटन अधिक होने के साथ ही गड़बड़ी की आशंका है। खासकर ऐसे काम जो बरसात या आपदा की वजह से खराब हो सकते हैं। यही नहीं कुंभ के स्थाई और अस्थाई कार्यों को भी निर्माण के साथ ही परखा जाएगा। लोक निर्माण विभाग के कार्यों पर ऑडिट की विशेष नजर रहेगी ताकि सड़कों की गुणवत्ता बनी रहे और सरकार के धन का दुरुपयोग न हो।