मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सचिवालय में रबी-खरीद सत्र 2020-21 की समीक्षा की। उन्होंने गेहूं के क्रय का समर्थन मूल्य 1925 रुपये प्रति क्विंटल किए जाने को मंजूरी दी। सीएम ने कहा कि किसानों को अधिकतम मूल्य और बेहतर सुविधाएं उपलब्ध हो, यह हमारी कोशिश रहनी चाहिए। पिछले साल गेहूं का समर्थन मूल्य 20 रुपए बोनस के साथ कुल 1860 रुपये प्रति क्विंटल था, जिसमें इस साल 65 रुपये की बढ़ोतरी की गई है। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि किसानों को उनकी उपज का समय पर भुगतान किया जाए।
उत्तराखंड में गेहूं के समर्थन मूल्य में 65 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की गई है। सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने इसके लिए 150 करोड़ की धनराशि को मंजूरी दी है। साथ ही क्रय केंद्रों की स्थापना के साथ ही कुंभ मेले को देखते हुए पर्याप्त खाद्यान भंडारण के भी निर्देश दिए हैं। सीएम ने कहां ऑर्गेनिक खेती को बढ़ावा देने के लिए ऑर्गेनिक गेहूं के क्रय की भी व्यवस्था की जाए।
इसके साथ ही सीएम ने समय पर गेहूं क्रय केंद्रों की स्थापना, सीमांत क्षेत्रों के साथ ही कुंभ को देखते हुए हरिद्वार में भंडारण क्षमता बढ़ाने की व्यवस्था किए जाने के भी निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने समीक्षा के दौरान सभी संबंधित विभागों से इसको लेकर प्रभावी कार्य योजना बनाकर आपसी समन्वय से कार्य करने को कहा। समीक्षा बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने खाद्य विभाग, सहकारिता और नैफेड के माध्यम से कुल 174 क्रय केन्द्रों और जरूरत के हिसाब से नए बोरों के क्रय पर सहमति जताई।
वहीं, सचिव खाद्य सुशील कुमार ने सीएम को अवगत कराया कि प्रदेश में वर्ष 2020-21 में 3,27,000 हेक्टेयर में गेहूं की बुआई और 9,60,000 मी.टन गेहूं के उत्पादन का लक्ष्य है। वर्ड बैंक के साथ हुए समझौते के तहत पांच-पांच सौ मी. टन क्षमता के दो टेम्पररी गोदाम धारचूला और हरिद्वार में स्थापित किये जाने के साथ ही ऊधम सिंह नगर और ऋषिकेश में 50 हजार मी. टन क्षमता के दो नये भण्डारण गृह बनाये जा रहे हैं।