कोरोना की तीसरी लहर के खिलाफ तैयारी शुरू, तीन मेडिकल कॉलेजों में 501 पदों को मंजूरी
सरकारी प्रवक्ता सुबोध उनियाल ने कैबिनेट के फैसलों की जानकारी देते हुए बताया कि राज्य के श्रीनगर, दून और हल्द्वानी मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस के साथ ही पीजी की सीटों को बढ़ाया जाना है। इसके लिए नेशनल मेडिकल काउंसिल की ओर से तय मानकों के अनुसार पदों का सृजन करने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने बताया कि राज्य में ये तीनों ही मेडिकल कॉलेज पढ़ाई के साथ ही मरीजों के इलाज के भी बड़े केंद्र है।
उत्तराखंड के मेडिकल कॉलेजों में इलाज की सुविधा बढ़ाने और एमबीबीएस व पीजी की सीटों में इजाफा करने के लिए सरकार ने नए पदों को मंजूरी दी है। बुधवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में यह निर्णय लिया गया। प्रदेश के तीन मेडिकल कॉलेजों के लिए 501 पदों पर मंजूरी दे दी गई है।
इसलिए इन तीनों ही मेडिकल कॉलेजों के अस्पतालों को भी मजबूत किया जा रहा है। कोरोना काल में भी राज्य में इन तीनों कॉलेजों की भूमिका सबसे अहम रही है। इसलिए सरकार ने इन कॉलेजों की स्थिति को और मजबूत करने का निर्णय लिया है। खासकर श्रीनगर मेडिकल कॉलेज पर विशेष फोकस किया जा रहा है ताकि पर्वतीय क्षेत्रों में लोगों को समय पर बेहतर इलाज मिल सके। उन्होंने बताया कि श्रीनगर मेडिकल कॉलेज के लिए फैकल्टी के 122, देहरादून के लिए 250 जबकि हल्द्वानी मेडिकल कॉलेज के लिए 129 पद मंजूर किए गए हैं।
श्रीनगर बेस अस्पताल में सुपर स्पेशलिटी सेवाएं
कैबिनेट ने श्रीनगर मेडिकल कॉलेज के टीचिंग अस्पताल बेस हॉस्पिटल में सुपर स्पेशलिटी सेवाएं शुरू करने के लिए अलग से 44 पद भी मंजूर किए हैं। इसके लिए प्रोफेसर के पांच, एसोसिएट प्रोफेसर के पांच, असिस्टेंट प्रोफेसर के पांच, सीनियर रेजीडेंट के पांच, सीनियर रेजीडेंट न्यूरो एनेस्थीसिया का एक, सीनियर रेजीडेंट एनेस्थीसिया का एक, सिस्टर इंचार्ज के पांच, स्टाफ नर्स के दस, एक्सरे टैक्नीशियन के तीन, ओटी टैक्नीशियन के दो और टैक्नीशियन के एक पद को मंजूर किया गया है। इन पदों के भरे जाने के बाद जल्द ही श्रीनगर बेस अस्पताल में मरीजों को सुपर स्पेशलिटी सेवाओं का भी लाभ मिलने लगेगा।