उत्तराखंड के सरकारी और प्राइवेट डॉक्टर अब विज्ञापन और होर्डिंग्स पर अपनी फोटो नहीं लगा पाएंगे। उत्तराखंड मेडिकल काउंसिल ने विज्ञापनों में डॉक्टरों के फोटो लगाने पर रोक लगा दी है। उत्तराखंड मेडिकल काउंसिल के प्रभारी रजिस्ट्रार डॉ डीडी चौधरी ने बताया कि हाल में काउंसिल की एथिक्स कमेटी की बैठक हुई थी जिसमें यह निर्णय लिया गया है।
कमेटी के निर्णय के बाद इस संदर्भ में सभी डॉक्टरों के लिए एसओपी जारी की गई है। उत्तराखंड में 14 हजार के करीब पंजीकृत डॉक्टर हैं और इन सभी को यह निर्देश दिए गए हैं। डॉ चौधरी ने कहा कि विज्ञापन में फोटो लगाना बहुत हल्कापन माना जाता है। डॉक्टर को लोग विशेषज्ञता के हिसाब से जानते हैं।
एथिक्स के खिलाफ है फोटो लगाना
यदि कोई अस्पताल अपना प्रचार करना चाहता है तो वह अपने अस्पताल का फोटो दे सकता है। इसके अलावा अस्पताल में लगी मशीनों की फोटो भी दी जा सकती है। डॉक्टर को यदि मरीजों को भरोसे में लेने के लिए बहुत ज्यादा जरूरत है तो वह अपनी डिग्री और डिप्लोमा की जानकारी दे सकता है।