एडिलेड। भारत की पहली पारी के नायक चेतेश्वर पुजारा ने गुरूवार को स्वीकार किया कि आस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले टेस्ट के पहले दिन शीर्ष क्रम को बेहतर बल्लेबाजी करनी चाहिए थी। पुजारा के 16वें टेस्ट शतक और आस्ट्रेलिया में पहले शतक की बदौलत भारत ने उबरते हुए स्टंप तक नौ विकेट पर 250 रन बना लिये जबकि एक समय टीम छह विकेट पर 127 रन बनाकर जूझ रही थी। उन्होंने गुरूवार को कहा, ‘‘हमें बेहतर बल्लेबाजी करनी चाहिए थी लेकिन पहले दो सत्र में उन्होंने भी अच्छी गेंदबाजी की। मैं जानता था कि मुझे धैर्य बरतना चाहिए और लूज गेंदों का इंतजार करना चाहिए। जिस तरह से उन्होंने गेंदबाजी की, वो सही लाइन एवं लेंथ में थी। मुझे भी लगा कि हमारे शीर्ष क्रम को बेहतर बल्लेबाजी करनी चाहिए थी लेकिन वे भी गलतियों से सीख लेंगे।’’
पुजारा ने कहा, ‘‘उम्मीद करते हैं कि हम दूसरी पारी में अच्छी बल्लेबाजी करेंगे। जहां तक मेरी पारी का संबंध है तो मैं अच्छी तरह तैयार था तथा आज मेरा प्रथम श्रेणी और टेस्ट क्रिकेट का अनुभव काम आया।’’ पुजारा ने अंत में आर अश्विन और इशांत शर्मा के साथ अहम भागीदारी निभायी, तब आस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाज थक गये थे। उन्होंने कुछ अच्छे शाट खेलकर भारत को प्रतिस्पर्धी स्कोर तक पहुंचाया। उन्होंने कहा कि विकेट बल्लेबाजी के लिये आसान नहीं था और उन्हें अपने शाट खेलने के लिये काफी समय की जरूरत थी।
उन्होंने अपने रन आउट होने के बारे में (जो दिन की अंतिम गेंद भी थी) कहा, ‘‘साथ ही अंतर यह है कि मैंने दो सत्र तक बल्लेबाजी की और मैं जानता था कि पिच कितनी तेज है और इस पर कितना उछाल है। मैं जम गया था, इसलिये ही अपने शाट खेल सका। मैं थोड़ा निराश था लेकिन मुझे वो एक एक रन भी लेने थे क्योंकि केवल दो गेंद बची थी और मैं स्ट्राइक पर रहना चाहता था। मैंने जोखिम उठाया लेकिन पैट कमिंस ने शानदार क्षेत्ररक्षण किया।’’ पुजारा को लगता है कि परिस्थितियों को देखते हुए पहली पारी में 250 रन का स्कोर अच्छा है।